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Nobel Hygiene

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शुगर या फिर Diabetes को  मधुमेह भी कहा जाता है। जो या तो अधिक मीठा खाने से होती है, खराब life style से होती है या फिर पैदा होने के बाद से होती है। लेकिन चाहे ये बीमारी कभी भी हो, इंसान के लिए हानिकारक ही रहती है। शुगर होने के बाद इसका स्तर सामान्य बना रहना बहुत जरूरी है, अगर लेवल सामान्य से बहुत अधिक है तो इनसुलिन देना पड़ सकता है। लेकिन अगर कम है, तो भी स्थिति चिंताजनक ही रहती है। ऐसी स्थिति में मरीज को चक्कर आने लगते हैं, घबराहट होने लगती है और आंखों के आगे अंधेरा छा जाता है। 

ऐसी स्थिति में शुगर यानी Diabetes का लेवल ठीक करने की कोशिश की जाती है और मरीज को कुछ मीठा खाने के लिए दिया जाता है। जिससे बीमारी का स्तर एक बार फिर सामान्य हो जाता है। ऐसे में इस बीमारी से ग्रसित होने पर डॉक्टर से इलाज कराते रहना चाहिए। ताकि वो जो दवाई दे और जैसा खानपान रखने को कहे, उसका ठीक से पालन किया जा सके।

टाइप 2 डायबटीज me क्या होती है?

तो चलिए अब जान लेते हैं कि Diabetes 2 kya hai? जब life style में बदलाव के कारण या खानपान में लापरवाही के कारण शुगर की बीमारी हो जाए, तो उसे टाइप 2 Diabetes कहते हैं। ऐसे में लापरवाही की वजह से दिल और ब्लड प्रेशर का खतरा तक बना रहता ही है, साथ ही Diabetes की बीमारी का खतरा भी बढ़ जाता है। शरीर में जब शुगर का स्तर अधिक हो जाए, तो ये बीमारी होती है। लोगों को सबसे अधिक खतरा टाइप 2 Diabetes का ही होता है। इसे सही खानपान से रोका जा सकता है। लेकिन अगर खाने पीने पर ध्यान ना दो, तो टाइप 2 Diabetes का खतरा बना रहता है। आजकल के दौर में मधुमेह के इस प्रकार का खतरा तेजी से बढ़ रहा है।

टाइप 2 मधुमेह होने पर 40 के करीब उम्र वाले या बुजुर्गों को अधिक खतरा बना रहता है। उन्हें इनसुलिन की जरूरत तक पड़ जाती है। लेकिन Type 2 Diabetes insulin की जरूरत युवाओं को बहुत कम ही पड़ती है। ऐसे में उनके लिए स्थिति ज्यादा घातक नहीं रहती। लेकिन पूरी तरह ये सोच लेना कि युवाओं को इससे खतरा नहीं होता, ये सोचना गलत होगा। युवाओं को भी बाकी आयु वर्ग के मरीजों की तरह बीमारी के सही प्रबंधन और इलाज की जरूर पड़ती है। इस बीच एक सबसे अधिक ध्यान देने वाली बात ये है कि टाइप 2 Diabetes होने पर कुछ खास लक्षण दिखाई नहीं देते हैं। अगर कुछ लक्षण दिखाई भी देते हैं, तो वो हल्के होते हैं। यही लक्षण बाद में धीरे-धीरे विकसित होने लगते हैं। इन लक्षणों में बार बार पेशाब आना और ज्यादा प्यास लगना शामिल है।

टाइप २ शुगर की बीमारी कैसे होती है

मधुमेह होने के बाद लोगों के जहन में ये सवाल जरूर आता है कि how does Diabetes occur और इससे कितना नुकसान पहुंच सकता है। इसका जवाब ये है कि जब शरीर में हार्मोन्स या फिर अन्त: स्त्रावी ग्रंथियों द्वारा बनने वाले स्त्राव की कमी हो जाए, या फिर वो अधिकता में हो जाए, तब शरीर में कई तरह की बीमारियां पैदा होने लगती हैं। इन बीमारियों में मधुमेह, थायराइड, मोटापा, कद से जुड़ी समस्याएं, insulin की कमी हो जाना या फिर उसके काम करने के तरीके में बदलाव आना शामिल है। इन सभी रोगों में सबसे खतरनाक मधुमेह को माना जाता है। इसे डायबटीज मैलिटस के नाम से भी जाना जाता है।

इसके अलावा टाइप 2 Diabetes की बीमारी lifestyle में होने वाले बदलाव के कारण होती है। लेकिन खानपान की सही आदत अपनाकर इससे खुद को बचाया जा सकता है। इसके साथ ही आधुनिक समय में होने वाली परेशानियां भी मधुमेह का कारण बनती हैं, जैसे stress, खानपान में बदलाव होना या फिर रहन सहन में आने वाले परिवर्तन। इसके साथ ही कोल्ड ड्रिंक और चिप्स जैसे फास्ट फूड को खाने से भी डायबटीज होने का खतरा बना रहता है। इसके अन्य कारणों में व्यायाम ना करना और जरूरत से अधिक खाना खाना भी शामिल है। ऐसे में आज के समय में इस बीमारी का खतरा पहले से कहीं ज्यादा बढ़ गया है।

कौन सी डायबटीज ज्यादा खतरनाक होती है

डायबटीज दो प्रकार की होती है। एक टाइप 1 और दूसरी टाइप 2। अब जानते हैं कि  Type 1 vs Type 2 Diabetes में कौन सी ज्यादा खतरनाक है। टाइप 1 डायबटीज बीमारी बड़ों के मुकाबले बच्चों में अधिक देखने को मिलती है, जबकि टाइप 2 वयस्कों में देखने को मिलती है। दोनों ही बीमारी मरीज के लिए खतरनाक होती हैं। Type 1 Diabetes में शरीर की कुछ कोशिकाएं पैंक्रियाज वाली कोशिकाओं पर हमला करती हैं, जिसके चलते इनसुलिन बनना बंद हो जाता है। इसी वजह से शरीर में शुगर की मात्रा बढ़ने लगती है। टाइप 2 डायबटीज अधिक फैट वाला भोजन खाने, समय पर ना सोने, सुबह देर तक सोने, बहुत ज्यादा नशा करने और खराब जीवनशैली की वजह से होता है। जिसके कारण शरीर में इनसुलिन बनना कम हो जाता है। आसान भाषा में कहें तो दोनों ही प्रकार की Diabetes सेहत के लिए खतरनाक होती हैं।

जिन लोगों को वयस्क होने पर डायबटीज होती है, वह टाइप 2 मधुमेह कहलाती है। सबसे अधिक सवाल ये पूछा जाता है कि is Type 2 Diabetes dangerous। तो इसका जवाब है कि ये डायबटीज भी खतरनाक ही होती है। इसके पीछे के सबसे बड़े कारणों में तनाव, नींद की कमी, अधिक मोटापा होना और सही से नींद ना आना शामिल है। टाइप 2 Diabetes होने के पीछे का एक बड़ा कारण ब्लड प्रेशर भी माना जाता है। ये बीमारी भी अधिक तनाव के कारण से होती है। और इसी के कारण बाद में मधुमेह का खतरा बना रहता है। इसके लक्षणों की बात करें, तो इससे पीड़ित व्यक्ति को बार-बार प्यास लगने लगती है, बार-बार पेशाब आता है, थकान महसूस होती है, घाव भरने में देरी होती है, वजन में कमी हो जाती है, संक्रमण हो जाता है और बाल झड़ने लगते हैं।

Friends Adult Diaper कैसे आ सकता है काम?

मधुमेह होने पर सबसे अधिक परेशानी तब होती है, जब पेशाब या तो बार-बार आए या अचानक आए। इससे कई बार इंसान को शर्मिंदगी का सामना भी करना पड़ता है। क्योंकि पेशाब कपड़ों में निकल जाता है। कई बार तो मरीज को बाथरूम तक जाने का भी समय नहीं मिल पाता है। परेशानी तब अधिक बढ़ जाती है, जब मधुमेह का मरीज किसी शादी फंक्शन में गया हो, या फिर घर से बाहर किसी और जरूरी काम के लिए निकला हो। तो ऐसी स्थिति में Friends Diaper काफी काम आ सकता है। इसे लगाकर मधुमेह के मरीज निश्चिंत होकर बिना किसी डर के कहीं भी जा सकते हैं।

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